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उत्तराखंड में मानसून के जख्म, 21 लोगों की मौत, 9 लापता, 133 मकान क्षतिग्रस्त, जानिए पूरा अपडेट


देहरादून (रोहित कुमार सोनी): मानसून हर साल उत्तराखंड को बड़े जख्म देकर जाता है. इस बार तो शुरुआत से ही मानसून ने जख्म देने शुरू कर दिए हैं. प्रदेश के कई इलाकों में बारिश के कारण आपदा जैसे हालात बने हुए हैं. बीते चार दिनों की बात की जाए तो बारिश के कारण 133 मकान क्षतिग्रस्त हुए हैं, और 33 मवेशियों की मौत भी हुई है. इसके अलावा इस मानसून सीजन में अभी तक 21 लोगों की आपदा की वजह से मौत हुई और 9 लापता हैं.

मौसम विभाग की मानें तो उत्तराखंड को आगामी तीन दिनों तक बारिश से कोई राहत मिलने के आसार नजर नहीं आ रहे हैं. मौसम विभाग ने आगामी 9 जुलाई तक प्रदेश भर में भारी बारिश की आशंका जताई है. बारिश को लेकर मौसम विभाग ने ऑरेंज और येलो अलर्ट जारी किया है. ऐसे में पुलिस-प्रशासन ने लोगों से अपील की है कि वो मौसम देखकर ही पर्वतीय मार्ग पर यात्रा करें.

मानसून हर साल उत्तराखंड को बड़े जख्म देकर जाता है (ETV Bharat)

आपदा में अभी तक 21 लोगों की जान गई: राज्य आपातकालीन परिचालन केंद्र से मिली जानकारी के अनुसार, इस आपदा सीजन के दौरान यानी एक जून से 4 जुलाई के बीच प्राकृतिक आपदा की वजह से 21 लोगों की मौत और 11 लोग घायल हुए हैं. इसके साथ ही 9 लोग अभी भी लापता हैं.

उत्तराखंड जिलेवार मौत का आंकड़ा. (ETV Bharat)

बीते चार दिन में बारिश से हुआ नुकसान: इसके अलावा 1 जुलाई से 4 जुलाई के बीच 133 मकानों को क्षति पहुंची है, जिसमें से 2 मकान पूरी तरह, 8 मकानों का अधिकांश हिस्सा और 123 मकानों का कुछ हिस्सा क्षतिग्रस्त हुआ है. यही नहीं, इन चार दिनों में 16 बड़े और 17 छोटे पशुओं की हानि भी हुई है.

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सड़कों के टूटने से लोगों को होती है परेशानी (ETV Bharat)

प्रदेश में सड़कों की हालत: उत्तराखंड के पर्वतीय क्षेत्रों में पिछले कुछ दिनों के भीतर हुई भारी बारिश के चलते सड़कों को काफी नुकसान पहुंचा है. राज्य आपातकालीन परिचालन केंद्र के अनुसार वर्तमान समय में 65 सड़कें भारी बारिश और भूस्खलन की वजह से बाधित हैं. इन सड़कों में एक राष्ट्रीय राजमार्ग, 15 लोक निर्माण विभाग की सड़कें और 49 ग्रामीण मार्ग शामिल हैं.

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गंगोत्री हाईवे की हालत (ETV Bharat)

लोक निर्माण विभाग और स्थानीय प्रशासन की ओर से लगातार इन बाधित मार्गों को खोलने का प्रयास किया जा रहा है, लेकिन भारी बारिश की वजह से पर्वतीय क्षेत्रों में हो रहे भूस्खलन के चलते लगातार सड़कें बाधित हो रही.

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भारी बारिश के कारण कई मकानों को नुकसान पहुंचा है (ETV Bharat)

फिलहाल राज्य में स्थिति सामान्य है. चारधाम यात्रा के सभी रूट खुले हुए हैं. हालांकि, यमुनोत्री में एक जगह मार्ग बाधित है, जिसे जल्द ही खोल दिया जाएगा. क्योंकि वहां बेली ब्रिज पहुंच गया है और काम भी चल रहा है.
– विनोद कुमार सुमन,आपदा प्रबंधन सचिव –

आपदा प्रबंधन सचिव ने बताया कि, जहां-जहां सड़कें बाधित हो रही हैं या फिर बाधित होने की आशंका है, उन जगहों पर जेसीबी मशीनों की तैनाती की गई हैं. सुबह 52 सड़कों के बंद होने की सूचना प्राप्त हुई थी. ऐसे में बाधित सड़कों को खोलने का कार्य लगातार किया जा रहा है.

मौसम का चेतावनी: प्रदेश में 9 जुलाई तक भारी बारिश का ऑरेंज और येलो अलर्ट जारी.

  • 6 जुलाई को देहरादून, रुद्रप्रयाग, टिहरी और बागेश्वर जिले में अधिकतर जगहों पर भारी से भारी बारिश को देखते हुए ऑरेंज अलर्ट जारी किया गया है. इन जिलों के अलावा प्रदेश के अन्य जिलों में हल्की से मध्यम बारिश को लेकर जारी किया गया है.
  • सात जुलाई को देहरादून, रुद्रप्रयाग, टिहरी और बागेश्वर जिले में अधिकतर जगहों पर भारी से भारी बारिश को देखते हुए ऑरेंज अलर्ट जारी किया गया है. इन जिलों के अलावा प्रदेश के अन्य जिलों में हल्की से मध्यम बारिश को लेकर जारी किया गया है.
  • 8 जुलाई को देहरादून, टिहरी, नैनीताल, चंपावत और बागेश्वर जिले में कहीं-कहीं भारी बारिश को लेकर येलो अलर्ट जारी किया गया है.
  • 9 जुलाई को नैनीताल, चंपावत, पिथौरागढ़ और बागेश्वर जिले में कहीं-कहीं भारी बारिश को लेकर येलो अलर्ट जारी किया गया है.

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