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47 दिन की चारधाम यात्रा, 5 हेलीकॉप्टर हादसे, 13 मौतें, क्या 'क्रैश कैपिटल' बन रहा उत्तराखंड


देहरादून: उत्तराखंड में लगातार हो रहे हेलीकॉप्टर हादसों पर लगाम लग पाना मुश्किल दिख रहा है. यूकाडा और डीजीसीए के तमाम नियमों और हवाई सेवा नियमावली व सरकार के सख्त निर्देशों के बावजूद लगातार हवाई हादसे सामने आ रहे हैं. उत्तराखंड चारधाम यात्रा के अभी तक के शुरुआती 45 दिनों के भीतर 5 हेलीकॉप्टर हादसे हो चुके हैं. इसमें क्रैश लैंडिग और इंजरजेंसी लैंडिंग भी शामिल है. इन हादसों में अभी तक 13 लोगों की मौत हो चुकी है. जबकि कई लोग घायल भी हुए हैं.

30 अप्रैल से शुरू हुई उत्तराखंड चारधाम यात्रा के बाद लगातार हो रही हेलीकॉप्टर क्रैश एक्सीडेंट से उत्तराखंड ‘क्रैश कैपिटल’ बन रहा है. 15 जून को गौरीकुंड में हुए हेलीकॉप्टर हादसे में पायलट समेत 7 लोगों की मौत हो गई. हादसा तब हुआ जब हेलीकॉप्टर केदारनाथ से श्रद्धालुओं को लेकर गुप्तकाशी के लिए उड़ा था. लेकिन गौरीकुंड के पास ही मौसम खराब होने से हेलीकॉप्टर क्रैश हो गया और 7 लोगों की मौत हो गई. इसमें एक 23 महीने की बच्ची भी शामिल है.

गंगनानी हेलीकॉप्टर हादसा: इससे पहले भी चारधाम यात्रा में अन्य संचालित हेलीकॉप्टर दुर्घटनाग्रस्त या क्रैश लैंडिंग हो चुकी है. 8 मई 2025 को उत्तरकाशी जिले में क्रिस्टल एविएशन का हेलीकॉप्टर गंगनानी के पास हेलीकॉप्टर क्रैश हो गया था. ये हेलीकॉप्टर खरशाली से झाला जा रहा था. हेलीकॉप्टर में बैठे महाराष्ट्र, उत्तर प्रदेश, आंध्र प्रदेश के यात्री गंगोत्री धाम दर्शन के लिए जा रहे थे. इस हादसे में पायलट समेत 6 लोगों की मौत हो गई थी. जबकि एक व्यक्ति घायल हो गया था.

हाईवे पर क्रैश लैंडिंग: 7 जून को क्रिस्टल एविएशन के ही हेलीकॉप्टर की बड़ासू हेलीपैड से केदारनाथ धाम हेलीपैड के लिए उड़ान भरते हुए हाईवे पर कैश लैंडिंग हो गई थी. गनीमत रही कि इस क्रैश लैंडिंग में हेलीकॉप्टर में सवार और हाईवे पर मौजूद किसी भी व्यक्ति को कुछ नहीं हुआ. हालंकि, इस क्रैश लैंडिंग से हेलीकॉप्टर का पिछला हिस्सा क्षतिग्रस्त होने के साथ ही हाईवे पर खड़ी एक कार को भी नुकसान पहुंचा था. इस हादसे के दौरान हेलीकॉप्टर में पायलट समेत 7 लोग सवार थ. घटना के बाद डीजीसीए ने क्रिस्टल एविएशन कंपनी के हेलीकॉप्टर संचालन पर अगले आदेश तक पाबंदी लगा दी थी, जो अभी भी जारी है.

ऊखीमठ में इमरजेंसी लैंडिंग: इन हेली हादसों से पहले 13 मई को भी चारधाम यात्रा संचालित हेलीकॉप्टर दुर्घटना का शिकार होने से बचा था. जानकारी के मुताबिक, बदरीनाथ से श्रद्धालुओं को लेकर वापस लौट रहा हेलीकॉप्टर अचानक तकनीकी खामी की वजह से बीच हवा में भी डगमगाने लगा था. जिसके बाद पायलट ने सूझबूझ से काम लेते हुए ऊखीमठ में हेलीकॉप्टर की तत्काल इमरजेंसी लैंडिंग करवाई. बताया गया कि खराब मौसम और कम विजिबिलिटी के कारण पायलट को इमरजेंसी लैंडिंग करानी पड़ी थी.

केदारनाथ में हेली की क्रैश लैंडिंग: इसके अलावा 17 मई को भी केदारनाथ में एक हेलीकॉप्टर की क्रैश लैंडिंग हुई थी. ये हेलीकॉप्टर केदारनाथ से एम्स ऋषिकेश जा रहा था. लेकिन हेलीपैड से उड़ान भरते ही चंद कदमों पर दूरी पर हेलीकॉप्टर की क्रैश लैंडिंग हुई. हालांकि, अच्छी बात ये रही कि इस हादसे में किसी को गंभीर चोटें नहीं आई.

ऐसे में 30 अप्रैल से शुरू हुई चारधाम यात्रा को आज डेढ़ महीना पूरा हो चुका है. इन डेढ़ महीने में चारधाम यात्रा में संचालित 2 हेलीकॉप्टर क्रैश हो चुके हैं जिसमें 13 लोगों की मौत हो चुकी है. जबकि दो हेलीकॉप्टर की क्रैश लैंडिंग और एक हेलीकॉप्टर की इमरजेंसी लैंडिंग कराई गई है. ये हादसे तब है जब डीजीसीए और यूसीएडीए लगातार हेली संचालन पर नजर बनाए रखा हुआ है.

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