चीनी के अधिक सेवन को स्वास्थ्य के लिए कई प्रकार से हानिकारक माना जाता है, इससे न सिर्फ ब्लड शुगर का स्तर बढ़ने का खतरा रहता है साथ ही वजन बढ़ने, मेटाबॉलिज्म की सेहत और हृदय रोगों का भी इससे खतरा हो सकता है। यही कारण है कि स्वास्थ्य विशेषज्ञ, शरीर को स्वस्थ रखने के लिए सभी लोगों को कम से कम मात्रा में चीनी का सेवन करने की सलाह देते हैं। अगर आप चीनी को पूरी तरह से छोड़ देते हैं, तो यह सेहत को ठीक रखने के लिए सबसे बेहतर माना जाता है।
स्वास्थ्य विशेषज्ञ कहते हैं, अगर आपकी भी मीठा खाने की आदत रही है और लाख कोशिशों के बाद भी मीठा नहीं छोड़ पा रहे हैं, तो आपको चीनी के स्वस्थ विकल्पों की तरफ ध्यान देने की आवश्यकता है। गुड़ खाना इसमें आपके लिए सबसे लाभकारी हो सकता है। कई अध्ययनों में विशेषज्ञों ने पाया कि गुड़ न सिर्फ आपको मीठा स्वाद देता है साथ ही इससे कई प्रकार के स्वास्थ्य लाभ भी हो सकते हैं।
आइए आहार में चीनी की जगह गुड़ को शामिल करने से होने वाले फायदों के बारे में जानते हैं।
गुड़ खाने के फायदे
अध्यनकर्ताओं ने पाया कि चीनी की जगह गुड़ खाना अच्छा विकल्प हो सकता है, इससे आप कई प्रकार के स्वास्थ्य लाभ भी पा सकते हैं। साल 2015 में किए गए एक अध्ययन के अनुसार, परिष्कृत सफेद चीनी की तुलना में गुड़ अधिक पौष्टिक विकल्प है। गुड़ के सेवन से शरीर के लिए प्रोटीन और पोटेशियम जैसी चीजों की भी पूर्ति की जा सकती है, जिसकी हमारे शरीर को आवश्यकता होती है। इसके अलावा डायबिटीज रोगियों के लिए भी यह अच्छा विकल्प माना जाता है।
डायबिटीज रोगी खा सकते हैं गुड़?
डायबिटीज में गुड़ खाना चाहिए या नहीं, यह लंबे समय से चर्चा का विषय रहा है। स्वास्थ्य विशेषज्ञ कहते हैं, गुड़ का सेवन चीनी से बेहतर है, डायबिटीज की स्थिति में इसका कम मात्रा में सेवन किया जा सकता है। चीनी की तरह इसके दुष्प्रभाव नहीं हैं, साथ ही यह पाचन और इम्युनिटी को ठीक रखने में भी आपके लिए मददगार है, जो डायबिटीज रोगियों के लिए हमेशा से बड़ी समस्या रही है।
हालांकि गुड़ का ग्लाइसेमिक इंडेक्स अधिक (84) होता है ऐसे में इसका अधिक मात्रा में सेवन करना सेहत के लिए कई प्रकार से दुष्प्रभावों वाला हो सकता है।
बेहतर पाचन में मिलती है मदद
गुड़ खाना आपके पाचन स्वास्थ्य के लिए कई प्रकार से लाभकारी हो सकता है। आयुर्वेद विशेषज्ञों का कहना है कि यह पाचन में मदद करता है और मल त्याग को भी बढ़ावा दे सकता है। कब्ज को रोकने के लिए इसे एक अच्छे विकल्प के तौर पर भी जाना जाता है। भारतीय खाद्य परंपरा में पाचन को बढ़ावा देने के लिए सभी लोगों को भोजन के बाद थोड़ी मात्रा में गुड़ खाने की सलाह दी जाती है।
एनीमिया की रोकथाम में भी इसके लाभ
एनीमिया गंभीर स्वास्थ्य समस्या है। भारत में महिलाओं में इसका जोखिम अधिक देखा जाता है। कुछ अध्ययनों से पता चलता है कि गुड़ खाना आपको एनीमिया के खतरे से बचाने में मददगार हो सकता है। गुड़ में प्रति 100 ग्राम में लगभग 11 मिलीग्राम आयरन होता है, हालांकि हमेशा ध्यान रखें बहुत अधिक मात्रा में गुड़ का सेवन नहीं किया जाना चाहिए।
आयरन के साथ-साथ गुड़ खाना शरीर के लिए और भी कई प्रकार के पोषक तत्वों की पूर्ति करने में सहायक है, ऐसे में इसे सेहत के लिए बेहतर विकल्प माना जा सकता है।