देहरादून: राजधानी देहरादून में शुक्रवार 18 जुलाई को ”5 सितंबर” फिल्म का प्रीमियर लॉन्च हुआ. इस मौके पर बॉलीवुड अभिनेता संजय मिश्रा, दीपराज राणा और बृजेंद्र काला भी मौजूद रहे. ईटीवी भारत ने भी फिल्म के डायरेक्टर और कलाकारों से खास बातचीत की और इस फिल्म के बारे में विस्तार से जाना.
5 सितंबर फिल्म केएसएम फिल्म प्रोडक्शन बैनर तले बनी हैं. इस फिल्म को उत्तराखंड की अब तक की सबसे बड़ी बॉलीवुड फिल्म माना जा रहा है. फिल्म के प्रीमियर लॉन्च पर अभिनेता संजय मिश्रा, दीपराज राणा और बृजेंद्र काला, फिल्म के निर्देशक-निर्माता और अभिनेता कुणाल शमशेर मल्ला, सह-कलाकार मलीहा मल्ला और ऋषभ खन्ना उपस्थित रहे.
ईटीवी भारत की संजय मिश्रा से खास बातचीत. (ETV BHARAT.)
फिल्म के निर्देशक और निर्माता कुणाल शमशेर मल्ला ने उत्तराखंड की जमकर तारीफ की. साथ की कहा कि उत्तराखंड की वादियों में यहां के प्रतिभाशाली लोगों के साथ उन्होंने 5 सितंबर फिल्म बनाई है, ये सफर उनका बेहद ही भावनात्मक और संतोषजनक रहा है.
अपनी फिल्म पांच सितंबर के बारे में बताते हुए कुणाल शमशेर मल्ला ने कहा कि उन्होंने ऐसी फिल्म बनानी चाही जो असली लगे, जो स्कूल जीवन की खुशियों, संघर्षों और शिक्षक-छात्रों के गहरे संबंधों को दर्शाए. कुणाल शमशेर मल्ला ने बताया कि इस फिल्म की कहानी देहरादून में ही रची गई है, वो भी देहरादून में ही पले-बढ़े और पढ़े है. इस फिल्म का प्रीमियर करना उनके लिए बहुत ही व्यक्तिगत और विशेष अनुभव है.
ईटीवी भारत की बृजेंद्र काला से खास बातचीत. (ETV BHARAT.)
कुणाल शमशेर मल्ला ने बताया कि उन्हें अंतरराष्ट्रीय मंचों से भी सराहना मिली है, जो बेहद उत्साहजनक रही है, लेकिन आज दिन उनके लिए सबसे बड़ा है. क्योंकि आज का दिन उनके शहर के लोगों के लिए है. उनकी यहीं आशा है कि यह फिल्म दर्शकों को मनोरंजन के साथ-साथ शिक्षा और मानवीय संबंधों की अहमियत पर सोचने पर भी मजबूर करे.
5 सितंबर फिल्म के मुख्य कलाकार की भूमिका में नजर आने वाले संजय मिश्रा ने भी ईटीवी भारत के साथ बातचीत की. उन्होंने कहा कि 5 सितंबर एक ईमानदार, ज़मीन से जुड़ी और ताजगी से भरपूर फिल्म है और इस तरह की दिल से बनी फिल्मों का हिस्सा बनना हमेशा आनंददायक होता है.
संजय मिश्रा ने कहा कि यह फिल्म उन्हें छात्र और शिक्षक संबंधों की उस सुंदर सादगी व ताकत की याद दिलाती है, जिसे हम आज भागदौड़ भरी दुनिया में अक्सर नजरअंदाज कर देते हैं. बता दें कि केएसएम फिल्म प्रोडक्शंस द्वारा निर्मित यह फिल्म छात्रों और शिक्षकों के अंतिम स्कूल वर्ष के रिश्तों को उजागर करती है. दोस्ती, प्रेशर, उम्मीद और आत्मबल की कहानी यह फिल्म एक प्रतीकात्मक फुटबॉल मैच के इर्द-गिर्द घूमती है. 5 सितंबर को अब तक 40 से अधिक अंतरराष्ट्रीय पुरस्कार और 20 नामांकन प्राप्त हो चुके हैं. साथ ही यह पहली मुख्यधारा की बॉलीवुड फिल्म है, जिसमें दो गढ़वाली गीत शामिल हैं.
इस मौके पर दीपराज राणा ने कहा कि यह फिल्म शिक्षकों और किशोरावस्था की यादों को समर्पित एक खूबसूरत कहानी है. उन्हें इस फिल्म का हिस्सा बनने पर गर्व है और इस बात की बेहद खुशी है कि इसका प्रीमियर उसी ज़मीन पर हो रहा है, जहां इसकी पूरी कहानी आधारित है. उत्तराखंड में एक समर्पित टीम के साथ काम करना उनके लिए बेहद भावनात्मक था.
बता दें कि दीपराज राणा ने भी इस फिल्म में अभिनय किया है. दीपराज राणा मूल रूप से उत्तराखंड के पौड़ी गढ़वाल जिले के सुमारी गांव से हैं. दीपराज राणा ने बताया कि उत्तराखंड आकर वो इस फिल्म की हिस्सा बने है. ये फिल्म पूरी सच्चाई और दिल से बनाई गई है. उनके लिए एक बेहद खास अनुभव रहा. 5 सितंबर इस राज्य और यहां के लोगों से गहराई से जुड़ी है और यही इसे खास बनाता है.
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