देहरादून : उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने राज्य में जरूरतमंदों को समय पर एंबुलेंस और एयर एंबुलेंस की सुविधा प्रदान करने के लिए मानक प्रचालन कार्यविधि (एसओपी) बनाने के निर्देश दिए हैं। इसके अलावा, उन्होंने जिलाधिकारियों को आर्थिक रूप से कमजोर परिवारों के लिए मृतक के शव को घर तक पहुंचाने हेतु एंबुलेंस की व्यवस्था सुनिश्चित करने का आदेश दिया।
मुख्यमंत्री धामी ने सोमवार को मुख्यमंत्री आवास में आयोजित उच्च स्तरीय बैठक में कहा कि सभी जरूरतमंदों को समय पर एंबुलेंस की सुविधा उपलब्ध होनी चाहिए। उन्होंने हाल ही में अल्मोड़ा जिले में एक घटना का जिक्र किया, जिसमें एक परिवार को आर्थिक संकट के कारण अपने मृतक परिजन का शव एंबुलेंस के माध्यम से पिथौरागढ़ नहीं ले जाने दिया गया और उन्हें शव को बोलेरो वाहन की छत पर ले जाना पड़ा। इस घटना से मुख्यमंत्री बहुत चिंतित थे और उन्होंने कहा कि ऐसी घटनाओं को रोका जाना चाहिए।
मुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि अगर किसी अस्वस्थ व्यक्ति के परिजनों को दाह संस्कार में कठिनाई का सामना हो रहा है, तो जिलाधिकारियों को इस व्यवस्था को सुनिश्चित करने के लिए तुरंत कदम उठाने होंगे।
इसके अलावा, मुख्यमंत्री ने शीतकालीन चारधाम यात्रा के बारे में भी निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि इन स्थलों के पौराणिक महत्व को प्रचारित किया जाना चाहिए, ताकि अधिक से अधिक श्रद्धालु इन स्थलों पर देवदर्शन के लिए पहुंच सकें। मुख्यमंत्री ने बताया कि शीतकाल में केदारनाथ की पूजा ओंकारेश्वर मंदिर (ऊखीमठ), बदरीनाथ की पूजा पांडुकेश्वर और जोशीमठ के नर्सिंग मंदिर, यमुनोत्री की खरसाली, और गंगोत्री की मुखवा में होती है। इन स्थानों का पौराणिक महत्व है और श्रद्धालुओं को यहां देव दर्शन करने से वही पुण्य मिलता है, जो नियमित यात्रा के दौरान प्राप्त होता है।
बैठक में प्रमुख सचिव आरके सुधांशु, सचिव शैलेश बगोली, विनय शंकर पांडे, अपर पुलिस महानिदेशक एपी अंशुमन और एमडीडीए के उपाध्यक्ष बंशीधर तिवारी भी उपस्थित थे।
धामी मंत्रिमंडल की बैठक कल
मुख्यमंत्री धामी की मंत्रिमंडल की बैठक बुधवार को सचिवालय में होगी, जिसमें राजस्व, परिवहन, शिक्षा, स्वास्थ्य, सहकारिता, पर्यटन, शहरी विकास, गृह, महिला सशक्तीकरण और बाल विकास, खेल एवं युवा कल्याण सहित विभिन्न विभागों से जुड़े महत्वपूर्ण निर्णयों पर चर्चा और मुहर लगने की संभावना है। इस बैठक में राष्ट्रीय खेलों के आयोजन के लिए रणनीति पर भी विचार किया जाएगा, और खेलों से जुड़े अहम निर्णय लिए जा सकते हैं।